मुंबई:आरबीआई ने पुराने होम और गोल्ड लोन पर फिर से अतिरिक्त कर्ज (टॉप-अप) देने की प्रवृत्ति पर सख्त रुख अपनाया है. आरबीआई गवर्नर शक्तिकान्त दास ने गुरुवार को कहा कि टॉप-अप कर्ज में नियामकीय आवश्यकताओं का पालन द्वारा नहीं किया जा रहा है. इस तरह की कर्ज राशि का उपयोग गैर-उत्पादक क्षेत्रों में या सट्टेबाजी के उद्देश्यों के लिए किया जा सकता है.
मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक के बाद दास ने कहा कि एनबीएफसी और बैंकों को टॉप-अप प्रक्रियाओं की समीक्षा करने और सुधारात्मक कार्रवाई करने की सलाह दी जाती है. साथ ही टॉप-अप के संबंध में धन के अंतिम उपयोग की निगरानी से संबंधित नियामकीय निर्देशों का पालन करना चाहिए. उन्होंने कहा कि आवास ऋण के ऊपर अतिरिक्त कर्ज (टॉप-अप) में वृद्धि सभी बैंकों का मुद्दा नहीं है, बल्कि यह कुछ इकाइयों तक ही सीमित है.
विदेशी मुद्रा भंडार रिकॉर्ड स्तर पर दास ने कहा कि देश का विदेशी मुद्रा भंडार दो अगस्त को 675 अरब डॉलर के रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गया. पहले यह 670.85 अरब डॉलर था.
देश का आर्थिक वृद्धि दर अनुमान बरकार रखा
आरबीआई ने चालू वित्त वर्ष के लिए जीडीपी वृद्धि के अनुमान को 7.2 प्रतिशत पर कायम रखा है. दास ने कहा कि कृषि गतिविधियों में सुधार से ग्रामीण उपभोग की संभावनाएं उज्ज्वल होंगी, जबकि सेवा गतिविधियों में निरंतर उछाल से शहरी उपभोग को समर्थन मिलेगा.
धोखाधड़ी करने वाले ऐप से बचाने की तैयारी
ऋण या उधार देने के नाम पर लोगों से धोखाधड़ी करने वाले डिजिटल ऐप पर शिकंजा कसने के लिए आरबीआई सार्वजनिक रिपॉजिटरी बनाएगा. ऐसे ठग आरबीआई के साथ अपने जुड़ाव का झूठा दावा करते हैं. इनके इस दावे को अब सार्वजनिक रिपॉजिटरी की मदद से जांचा जा सकेगा.
आरबीआई ने यूपीआई के जरिये कर भुगतान करने की सीमा एक लाख रुपये से बढ़ाकर पांच लाख रुपये कर दी है. वर्तमान में यह सीमा एक लाख रुपये है. आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि इस संबंध में आवश्यक निर्देश अलग से जल्द ही जारी किए जाएंगे.
अब 15 दिन पर देनी होगी ऋण की सूचना
आरबीआई ने बैंकों या ऋण संस्थाओं को कर्ज लेने वाले ग्राहकों के ऋण की सूचना अब प्रत्येक पंद्रह दिन या उससे भी कम अंतराल पर देने का निर्देश दिया है. वर्तमान में ऋण संस्थाओं को अपने उधार लेने वाले ग्राहकों के ऋण की सूचना मासिक अंतरात पर देना आवश्यक है.
एक यूपीआई खाते से दो शख्स पैसे भेज सकेंगे
आरबीआई यूपीआई में डेलिगेटेड पेमेंट्स सुविधा शुरू करेगा. इसके तहत एक व्यक्ति दूसरे व्यक्ति को अपने बैंक खाते से यूपीआई के जरिए भुगतान करने के लिए अधिकृत कर सकेगा. दूसरे व्यक्ति को यूपीआई से जुड़ा अलग खाता नहीं रखना होगा. इसमें प्राथमिक ग्राहक की मंजूरी जरूरी होगी.