रायपुर. कवर्धा के लोहारीडीह कांड के बाद 33 महिलाएं दुर्ग केंद्रीय जेल में बंद है. राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष किरणमयी नायक ने रविवार को दुर्ग जेल में बंद महिलाओं से मुलाकात के बाद अपनी रिपोर्ट तैयार कर ली है.
आयोग ने अपनी रिपोर्ट मुय न्यायाधीश उच्चतम न्यायालय, राष्ट्रीय अध्यक्ष मानवाधिकार आयोग और राज्यपाल एवं मुय न्यायाधीश छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय को भेजी है. इसमें आयोग ने कवर्धा के तत्कालिन एसपी अभिषेक पल्लव सहित अन्य पुलिसकर्मियों पर एफआईआर की अनुशंसा की है.
राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष ने कहा है कि उनके साथ जांच दल भी गए थे, जिसे जेल सुप्रिटेंडेंट ने रोकने की कोशिश की, जो बहुत ही दुर्भाग्यजनक है. आयोग ने अनुशंसा की है कि दुर्ग जिला जेल में लोहारीडीह की बंद सभी 33 महिला बंदियों का डॉक्टरी मुलाहिजा और उनकी चोटों की तत्काल वीडियोग्राफी कराई जाए. लोहारीडीह में जाने वाले पुलिस अधिकारी और पुलिस बल में जाने वाले सभी महिला एवं पुरुष पुलिसकर्मियों की शिनाती परेड कराया जाए.
कवर्धा जिला पुलिस प्रशासन के द्वारा बिना सर्च वारंट के महिलाओं के घर का दरवाजा तोड़कर की गई गिरतारी और थर्ड डिग्री का इस्तेमाल कर प्राणघातक हमला करने वाले सभी पुलिसकर्मियों एवं अधिकारियों के खिलाफ तत्काल एफआईआर दर्ज किया जाए. एसपी के शासकीय मोबाइल व पर्सनल मोबाइल के पूरे कॉल डिटेल और लोकेशन के आधार पर लोहारीडीह घटना स्थल पर उनकी उपस्थिति की जांच हो. उनके मोबाइल पर लोहारीडीह गांव के किसी व्यक्ति व किस नंबर से फोन आया, इसकी जांच कराई जाए.