केंद्र सरकार की तरफ से केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड ने मंगलवार को उन सभी सवालों के जवाब दिए हैं जो केंद्र सरकार की तरफ से स्वीकृत पैन 2.0 प्रोजेक्ट को मंजूरी मिलने के बाद उठ रहे थे. बोर्ड ने स्पष्ट किया है कि 2.0 के तहत ई-पैन पंजीकृत मेल आईडी पर भेजे जाएंगे. जबकि भौतिक पैन कार्ड के लिए 50 रुपये शुल्क के साथ आवेदन करना होगा.
वहीं, भारत के बाहर कार्ड की डिलीवरी के लिएआवेदक को 15 रुपये के साथ वास्तविक भारतीय डाक शुल्क भी देना होगा. बोर्ड की तरफ से बताया गया है कि नए पैन कार्ड जारी करने की प्रक्रिया जल्द शुरू होगी. मौजूदा पैन कार्ड (पैन 2.0) के तहत पूरी तरह से वैध बने रहेंगे. कोई भी पैन तब तक नहीं बदला जाएगा, जब तक पैन धारक कोई अपडेट एवं सुधार नहीं चाहता है.
मौजूदा पैन धारक अपने मौजूदा पैन विवरण जैसे ईमेल आईडी, मोबाइल नंबर, पता या नाम, जन्म तिथि आदि में कोई सुधार या बदलाव करना चाहते हैं, तो वह बदलाव एवं सुधार के लिए आधार आधारित ऑनलाइन सुविधा का नि:शुल्क लाभ उठा सकते हैं.
क्यों जरूरी हुआ पैन 2.0 को लाना
क्या होगी विशेषता
● नए पोर्टल से नए पैन के लिए आवेदन, बदलाव, सुधार, आधार-पैन लिंकिंग, पुन: जारी करने के अनुरोध होगा.
● ऑनलाइन पैन सत्यापन सेवा के माध्यम से पैन प्रमाणीकरण, सत्यापन के लिए वित्तीय संस्थानों, बैंकों, सरकारी एजेंसियों, केंद्र और राज्य सरकार के विभागों को सुविधा (लिंक) दिया जाएगा.
●समस्याओं के समाधान के लिए एक समर्पित कॉल सेंटर और हेल्पडेस्क जल्द ही स्थापित की जाएगी.
●मौजूदा पैन धारक नि:शुल्क https://www.pan. utiitsi.com/PAN या https://www. online services.nsdl.com/paam/endUserAddress पर जाकर जानकारी अपडेट कर सकते हैं.
पैन 2.0 आयकर विभाग की एक ई-गवर्नेंस परियोजना है, जिसका उद्देश्य करदाता पंजीकरण सेवाओं की व्यावसायिक प्रक्रियाओं को नए सिरे से तैयार करना है. इसमें नवीनतम तकनीक को अपनाकर पैन सेवाओं की गुणवत्ता को बेहतर किया जाएगा है. वर्तमान में पैन से संबंधित सेवाएं तीन अलग-अलग प्लेटफॉर्म (ई-फाइलिंग, यूटीआईआईटीएसएल और प्रोटेन ई-गवर्नेंस पोर्टल) से संचालित होती है. नई व्यवस्था में सभी सेवाएं एकीकृत पोर्टल से संचालित होंगी. वन-स्टॉप प्लेटफॉर्म पैन और टैन से संबंधित सभी मुद्दों को देखा जाएगा. मौजूदा 78 करोड़ पैन और 73.28 लाख टैन का डेटाबेस को एकीकृत करके सेवाओं को बेहतर बनाया जाएगा.