रायपुर. शुक्रवार को अलसुबह बिलासपुर में रहने वाली पर्वतारोही निशा यादव के पास एक फोन आया और फोन पर एक सौम्य सी आवाज में किसी ने उससे कहा आपको किलिमंजारो चढ़ना है, आप खर्च की चिंता न करें. निशा चकित हुई और आश्चर्य से पूछा आप कौन हैं, सामने से आवाज आई बेटा मैं विष्णुदेव साय बोल रहा हूं. निशा ने आश्चर्यचकित भाव से कहा आप सच में मुख्यमंत्री में बोल रहे हैं. उसे यकीन नहीं हो रहा था, लेकिन जब मुख्यमंत्री ने पूरी बात बताई और कहा कि आप अपने लक्ष्य पर फोकस करें. छत्तीसगढ़ की हर एक बेटी का सपना पूरा करना सरकार की जिम्मेदारी है. छत्तीसगढ़ सरकार आपके साथ खड़ी है. मुख्यमंत्री के आश्वासन को सुनकर निशा की खुशी का ठिकाना नहीं रहा. निशा को इस बात पर भी यकीन करना बड़ा मुश्किल हो रहा था कि बिना किसी आवेदन या आग्रह के मुख्यमंत्री ने उनका सपना पूरा करने की पहल की है. मुख्यमंत्री ने निशा के साथ पर्वतारोहण के बारे में विस्तार से बात की. निशा ने मुख्यमंत्री को यूरोप महाद्वीप की सबसे ऊंची चोटी माउंट एलब्रुस की चढ़ाई के दौरान आई चुनौतियों के बारे में बताया. उसने बताया कि पर्वत की यात्राएं रोमांच से भर देती हैं. पर्वतों की चोटी पर तिरंगा फहराना गर्व से भर देता है. निशा ने आगे बताया कि अब अफ्रीका महाद्वीप की सबसे ऊंची चोटी किलिमंजारो को फतह करना चाहती हैं और उनका अंतिम लक्ष्य माउंट एवरेस्ट पर तिरंगा फहराने का है.
निशा के पिता हैं ऑटो चालक निशा ने मुख्यमंत्री को आगे बताया कि वह पिछले कई दिनों से सो नहीं पा रही थी. उनके पिता ऑटो चालक हैं और मेरे सपने को पूरा कर पाना उनके लिए कठिन था. मन में बड़ी दुविधा थी कि यह कैसे संभव हो पाएगा, मेरा सपना कैसे पूरा होगा. आज आप ने मेरी सारी चिंताओं को दूर कर दिया है. इसके लिए उन्होंने मुख्यमंत्री को धन्यवाद दिया. निशा की आत्मविश्वास भरी इन बातों को सुनकर मुख्यमंत्री ने कहा कि छत्तीसगढ़ को अपनी बेटियों पर गर्व है. हम चाहेंगे कि छत्तीसगढ़ की बेटी माउंट एवरेस्ट पर भी तिरंगा फहराए. उन्होंने कहा कि आर्थिक हालात से हौसले पस्त नहीं होते.