कोलकाता के आरजीकर रेप केस में फैसला आ गया है. जज ने संजय रॉय को उम्रकैद की सजा सुनाई है. इसके अलावा जज ने उसके ऊपर 50 हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया है. बीते साल 9 अगस्त को 32 साल की ट्रेनी डॉक्टर के साथ बलात्कार के बाद हत्या कर दी गई थी. इसके चलते देशभर में जमकर विरोध प्रदर्शन हुए थे. कोलकाता पुलिस से केस ले चुकी CBI ने रॉय के लिए मौत की सजा की मांग की थी. लेकिन जज अनिर्बान दास ने फैसला सुनाते हुए कहाकि यह रेयरेस्ट ऑफ द रेयर केस नहीं है. इसके आधार पर उन्होंने आरोपी संजय रॉय को उम्रकैद की सजा सुनाई. कोर्ट ने पीड़िता के परिजनों को 17 लाख रुपए का मुआवजा दिए जाने का भी फैसला सुनाया है.
खुद को बता रहा निर्दोष
इधर, आरोपी रॉय खुद को निर्दोष बता रहा है. उसने कोर्ट में कहा, ‘मुझे बगैर किसी कारण के फंसाया जा रहा है. मैंने आपको पहले बताया है कि मैं हमेशा रुद्राक्ष की चेन पहनता हूं. अगर मैंने अपराध किया होता, तो वो अपराध वाली जगह पर टूट जाती. मुझे बोलने का मौका ही नहीं दिया गया. उन लोगों ने मुझसे जबरन पेपर पर साइन कराए. मुझे बोलने का मौका नहीं मिला. आपने भी यह सब देखा है सर. मैंने आपको पहले भी बताया है.’
जज अनिर्बान दास ने शनिवार को रॉय को दोषी ठहराया था और कहा था कि वह फैसला सुनाने से पहले उसकी बात सुनेंगे. उन्होंने कहा था कि रॉय को कम से कम उम्रकैद हो सकती है. सोमवार को जज ने कहा, ‘मुझे मेरे सामने पेश सबूत के आधार पर फैसला लेना होगा. मैंने 3 घंटों तक तुम्हारी बात को सुना. आपके वकील ने आपका केस पेश किया. आरोप साबित हो चुके हैं. अब मैं सजा पर आपके विचार जानना चाहता हूं.’
अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायालय के जस्टिस दास ने रॉय को शनिवार को भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धारा 64, 66 और 103(1) के तहत दोषी ठहराया. कार्यवाही के दौरान CBI के अधिवक्ता ने दोषी को कड़ी से कड़ी सजा देने का अनुरोध किया. एजेंसी के अधिवक्ता ने अदालत से कहा, ‘हम समाज में लोगों का विश्वास बनाए रखने के लिए कड़ी से कड़ी सजा का अनुरोध करते हैं.’