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क्या 500 रुपये का नोट अगले साल से बंद होने जा रहा? जानिए सरकार ने क्या कहा

500 रुपये का नोट अगले साल से बंद होने जा रहा है… इस तरह का एक मैसेज सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है. दरअसल, यूट्यूब पर तेजी से वायरल हो रहे एक वीडियो में दावा किया गया है कि भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) मार्च 2026 तक 500 रुपये के नोट को बंद करने वाला है. कैपिटल टीवी चैनल (capitaltvind) नामक एक यूट्यूब चैनल ने इस बारे में एक वीडियो पोस्ट किया, जो तुरंत वायरल हो गया और कई लोगों को आश्चर्य हुआ कि क्या 500 रुपये के नोट को फेजवाइज तरीके से बंद किया जा रहा है या नहीं. हालांकि, सरकार ने इसे फेक खबर बताया है.

500 रुपये के नोट को लेकर क्या अफवाह है?

वीडियो में दावा किया गया है कि RBI 500 रुपये के नोटों को फेजवाइज तरीके से बंद करने पर काम कर रहा है, जिसकी प्रक्रिया मार्च 2026 तक पूरी होने की उम्मीद है.

क्या सरकार 2026 तक 500 रुपये के नोट को चलन से बाहर करने की योजना बना रही है?

पीआईबी फैक्ट चेक के अनुसार, आरबीआई ने 500 रुपये के नोट को चलन से बाहर करने के बारे में कोई घोषणा नहीं की है. ये नोट वैध करेंसी बने हुए हैं और अभी भी पूरे देश में जारी और स्वीकार किए जा रहे हैं. वीडियो भ्रामक है और किसी आधिकारिक बयान या आरबीआई सर्कुलर द्वारा समर्थित नहीं है.

हालांकि, यह अटकलें अप्रैल 2025 में जारी आरबीआई के एक हालिया सर्कुलर से और बढ़ गई हैं, जिसमें बैंकों और व्हाइट लेबल एटीएम ऑपरेटरों (डब्ल्यूएलएओ) को एटीएम के माध्यम से 100 रुपये और 200 रुपये के नोटों का प्रचलन बढ़ाने का निर्देश दिया गया है. अप्रैल 2025 में RBI ने बैंकों से कहा कि वे यह सुनिश्चित करें कि ATM से 100 या 200 रुपये के नोट निकलें, ताकि लोगों को इन करेंसी नोटों की उपलब्धता बढ़ाई जा सके. बैंकों और व्हाइट लेबल ATM ऑपरेटरों (WLAO) को चरणबद्ध तरीके से इस निर्देश को लागू करना होगा.

RBI वॉयस कॉल धोखाधड़ी

एक अन्य मैटर में प्रेस सूचना ब्यूरो (PIB) की फैक्ट चेक यूनिट ने भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) का प्रतिरूपण करने वाले एक धोखाधड़ी वाले वॉयसमेल घोटाले के बारे में चेतावनी दी. ये वॉयसमेल झूठा दावा करते हैं कि कथित क्रेडिट कार्ड धोखाधड़ी के कारण आपका बैंक खाता ब्लॉक कर दिया जाएगा और प्राप्तकर्ताओं से अधिक जानकारी के लिए एक नंबर दबाने का आग्रह किया जाता है. चेतावनी स्पष्ट है: यह आपकी व्यक्तिगत जानकारी चुराने के लिए बनाया गया एक घोटाला है. बता दें कि प्रेस सूचना ब्यूरो (पीआईबी) भारत सरकार की नोडल एजेंसी है जो सरकारी नीतियों, कार्यक्रमों, पहलों और उपलब्धियों के बारे में प्रिंट और इलेक्ट्रॉनिक मीडिया को सूचना प्रसारित करती है.

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