नई दिल्ली: बीमा नियामक एवं विकास प्राधिकरण (इरडा) ने पॉलिसी धारकों को बड़ी राहत दी है. अब सभी स्वास्थ्य और सामान्य बीमा कंपनियों को अनिवार्य रूप से रियायत अवधि (ग्रेस पीरियड) के दौरान भी बीमा कवर प्रदान करना होगा. स्वास्थ्य बीमा के मामले में यह छूट उन ग्राहकों को मिलेगी, जिन्होंने अपने प्रीमियम का भुगतान मासिक, त्रैमासिक, अर्ध-वार्षिक या वार्षिक आधार पर किया है.
पॉलिसीधारकों को आमतौर पर अपने स्वास्थ्य बीमा प्रीमियम का भुगतान करने के लिए रियायत अवधि मिलती है. इस दौरान उन पॉलिसीधारकों को बीमा प्रीमियम चुकाने का मौका दिया जाता है, जो तय समय पर किस्त नहीं भर पाए थे. बीमा कंपनियां 15 से लेकर 30 दिन तक रियायत अवधि प्रदान करती हैं. लेकिन इस दौरान बीमाधारक को पॉलिसी कवरेज नहीं दिया जाता है. अब इरडा ने बीमा कंपनियों से छूट अवधि के दौरान भी दावा कवरेज प्रदान करने को कहा है.
पहले क्या था नियम
अब तक बीमा कंपनियों के लिए ग्रेस पीरियड के दौरान स्वास्थ्य बीमा कवर प्रदान करना अनिवार्य नहीं था. हालांकि इस दौरान पॉलिसी सक्रिय रहती है और इसके अन्य लाभ जारी रहते हैं. जैसे कि बीमा राशि, नो क्लेम बोनस, विशिष्ट प्रतीक्षा अवधि, पहले से मौजूद बीमारियों के लिए प्रतीक्षा अवधि, स्थगन अवधि आदि. लेकिन यदि बीमाधारक इस अवधि के दौरान दुर्घटनाग्रस्त हो जाए तो बीमा कंपनी उसके दावे का भुगतान करने के लिए उत्तरदायी नहीं होती थी. हालांकि कुछ कंपनियां ही इस अवधि के दौरान भी दावा कवरेज प्रदान करती थी.
पॉलिसी धारकों को होगा बड़ा फायदा
विशेषज्ञों का कहना है कि इस फैसले से बीमा ग्राहकों को काफी फायदा होगा. उनके लिए यह याद रखना आसान होगा कि किस तरह की स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी के लिए कौन सी रियायत अवधि लागू होगी और उसके अनुसार भुगतान करना होगा. पहले इस अवधि के दौरान कवर प्रदान करना अनिवार्य नहीं था लेकिन अब सभी कंपनियों को अपने पॉलिसीधारकों को यह लाभ प्रदान करना होगा.