विशेषज्ञों को वित्त वर्ष 2024 में भारत में तेल की मांग तेज बने रहने की उम्मीद है। हालांकि चीन में औद्योगिक उत्पादन कम होने के कारण उससे जुड़ी अर्थव्यवस्था के सुस्त होने की चिंताएं हैं और वैश्विक स्तर पर तेल का उत्पादन गिरने की आशंका है।
लिहाजा इन चिंताओं के कारण कुछ महीने पहले से तेल के वैश्विक उत्पादन में गिरावट आई है। हालांकि कई ज्यादातर विशेषज्ञ घरेलू मांग और बढ़ने के कारण आर्थिक गतिविधियां बढ़ने की ओर इशारा कर रहे हैं। तेल निर्यातक देशों के संगठन (ओपेक) की दिसंबर की मासिक रिपोर्ट के अनुसार भारत में 2024 के दौरान तेल की मांग 4.1 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ 55.9 लाख बैरल प्रति दिन होने की उम्मीद है।