चुनाव से पहले सीएए : शाह
लोकसभा चुनाव से पहले नागरिकता संशोधन अधिनियम (सीएए) लागू होगा. केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने शनिवार को दिल्ली में आयोजित एक कार्यक्रम में ये बात कही. शाह ने कहा, सीएए देश का कानून है और ये जरूर लागू होगा, चुनाव से पहले इसकी अधिसूचना जारी होगी, इसमें कोई भ्रम नहीं है.
अमित शाह ने कहा कि सीएए कांग्रेस सरकार का वादा था. जब देश का बंटवारा हुआ और पड़ोसी मुल्कों में अल्पसंख्यकों पर अत्याचार हुआ तो कांग्रेस ने शरणार्थियों से वादा किया था कि वो भारत में उनका स्वागत करेगी और उन्हें भारत की नागरिकता दी जाएगी, लेकिन अब वो अपने वादे से पीछे हट रही है.
मुस्लिम भाइयों को उकसाया जा रहा : अमित शाह ने कहा कि देश के अल्पसंख्यकों खासतौर से मुस्लिम भाइयों को सीएए को लेकर उकसाया जा रहा है. मैं स्पष्ट करना चाहता हूं कि सीएए से किसी की नागरिकता नहीं छीनी जा सकती है, क्योंकि इसमें ऐसा कोई प्रावधान नहीं है. सीएए के माध्यम से बांग्लादेश, अफगानिस्तान, पाकिस्तान, से आए शरणार्थियों को नागरिकता दी जाएगी. इस कानून को लेकर भ्रम की स्थिति पैदा की जा रही है. इसका विरोध नहीं होना चाहिए.
पांच धर्म के प्रवासियों को लाभ: शाह ने कहा, मोदी सरकार 31 दिसंबर 2014 से पहले बांग्लादेश, पाकिस्तान, अफगानिस्तान से भारत आए गैर मुस्लिम प्रवासियों को भारतीय नागरिकता देगी. इस कानून का लाभ हिंदू, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाई धर्म के लोगों को मिलेगा. मालूम हो कि दिसंबर 2019 में संसद से यह कानून पास हुआ था और राष्ट्रपति से मंजूरी मिल गई थी.
आवेदन के लिए ऑनलाइन पोर्टल तैयार : अधिकारियों के अनुसार, सीएए के नियम तैयार हो गए हैं. ऑनलाइन पोर्टल भी तैयार हैं. पोर्टल पर आवेदकों को बताना होगा कि वो बिना किसी कागज के भारत कब आए. व्यवस्था के तहत लोगों से किसी तरह के कागज नहीं मांगे जाएंगे. संसदीय कार्य प्रणाली के अनुसार किसी कानून को राष्ट्रपति से मंजूरी के बाद छह महीने में कानून बन जाना चाहिए, लेकिन वर्ष 2020 से केंद्र सरकार नियम बनाने के लिए लगातार एक्सटेंशन ले रही है.
‘कांग्रेस ने मोदी की जाति को ओबीसी सूची में जोड़ा’
गृहमंत्री ने कहा कि गुजरात सरकार ने जुलाई 1994 को नरेंद्र मोदी की जाति को ओबीसी में शामिल किया था. वर्ष 2000 में केंद्र ने पीएम मोदी की जाति को ओबीसी लिस्ट में जोड़ा. उस वक्त मोदी न तो सांसद थे, न विधायक थे और न ही सरपंच. मोदी 2001 में गुजरात के मुख्यमंत्री बने.
‘राम के बिना भारत की कल्पना नहीं कर सकते’
अमित शाह ने लोकसभा में शनिवार को कहा कि राम के बिना भारत की कल्पना नहीं की जा सकती है. श्रीराम मंदिर निर्माण और प्राण प्रतिष्ठा पर चर्चा में भाग लेते हुए शाह ने कहा, 22 जनवरी का दिन 10 हजार साल तक याद रखा जाएगा.