लगातार थकान यह दिल की विफलता का सबसे शुरुआती और प्रचलित लक्षण है. पूरी रात की नींद के बाद भी थकावट रहना, संकेत है कि रक्त पंप करने के लिए दिल को अधिक मेहनत करनी पड़ रही है. ऐसे में रोज के कामों जैसे सीढ़ियां चढ़ना या थोड़ा पैदल चलने में समस्या होने लगती है.
सांस की तकलीफ ऐसे काम करने में सांस लेने में दिक्कत होना, जो पहले नहीं होती थी. असामान्य लगने पर डॉक्टर से मिलने में देरी न करें. कमजोर दिल जब पर्याप्त रक्त पंप करने में असमर्थ होता है तो अंगों और मांसपेशियों तक पर्याप्त ऑक्सीजन नहीं पहुंच पाती है और थोड़ा सा श्रम करने में सांस फूलती है. दिमाग तक खून की पर्याप्त पूर्ति न होने से बेहोशी या हल्का सिर दर्द रहता है.
अनियमित धड़कन धड़कन बढ़ना, धड़कनों का रुक जाना या छाती में फड़फड़ाहट, सतर्क हो जाएं. ये कोरोनरी धमनियों के रोग व हार्ट फेल्योर के लक्षण भी हो सकते हैं.
सीने में दर्द या बेचैनी ऐसा कई स्थितियों में होता है, पर दिल के रोगों का भी यह महत्त्वपूर्ण लक्षण है. दर्द हल्के से लेकर तेज होता रहता है, छूरा घोंपने जैसी अनुभूति होती है, बांहों, गर्दन, जबड़े या पीठ तक दर्द फैलने लगता है. सीने में दर्द के साथ सांस लेने में तकलीफ या उल्टी आने जैसे लक्षण महसूस हों तो डॉक्टर से मिलें.
अपच या सीने में जलन महिलाओं में इसके लक्षण ज्यादा सामने आते हैं. हालांकि अपच व जलन खाने की वस्तुओं से भी हो सकती है. पर, अकसर ऐसा होता है तो डॉक्टर को जरूर दिखाएं. खासकर, मधुमेह या उच्च रक्तचाप की समस्या है या फिर धूम्रपान करने की आदत है.
सूजन पैर, टखना, पंजे और पेट के निचले हिस्से में एडिमा या लगातार सूजन रहती है तो जांच जरूर कराएं. दिल जब ढंग से काम नहीं करता तो शरीर में तरल जमा होने लगता है.
अत्यधिक पसीना, चक्कर या उल्टी हृदय तंत्र संबंधी गड़बड़ी के कारण शरीर से बहुत पसीना आता है. खासकर हार्ट अटैक से पहले पसीने के साथ छाती में दर्द व सांस लेने में तकलीफ के लक्षण भी दिखते हैं. महिलाओं में दौरे से पूर्व चक्कर, उल्टी व अपच के लक्षण देखने को मिलते हैं.